Rakshabandhan 2021 : राखी का बदलता रूप /स्वरूप, अब ट्रेडिशनल और स्टाइलिश लुक में मिलती हैं राखियां

नमस्कार दोस्तों स्वागत है आप  सभी हमारा ठाकुर प्रसाद कैलेंडर  में आज हम आपसभी बताएँगे राखी 2021 में इसका बदलता स्वरूप तो आइए जानते है 

यह प्राचीन काल या मध्ययुगीन काल में नहीं है। अब राखी ने बहुत कुछ बदल दिया है। राखी का आकार नहीं बदलता है लेकिन पहली राखी को राखी नहीं कहा जाता था । इसका मतलब यह है कि नाम भी बदल गया है। इस बार राखी बाजार को एक आधुनिक रूप में भी देखा जाता है। प्रत्येक डिजाइन से राखी को बड़े पैमाने पर सजाया गया है। चलो दिलचस्प जानकारी जानते हैं।

 

बदला  गया नाम :

1. राखी को पहले रक्षा सूत्र कहते थे।

2 .मध्यकाल में इसे राखी कहा जाने लगा।

3. यह रक्षा सूत्र ही राखी में बदल गया।

4. रक्षा सूत्र को बोलचाल की भाषा में राखी कहा जाता है जो वेद के संस्कृत शब्द ‘रक्षिका’ का अपभ्रंश है।

5 . राखी को राक्ष कहने के पूर्व पहले इसे श्रावणी या सलूनो भी कहते थे।

6 . इसी तरह प्रत्येक प्रांत में इसे अलग अलग नामों से जाना जाने लगा है।

7 . दक्षिण में नारियय पूर्णिमा, बलेव और अवनि अवित्तम, राजस्थान में रामराखी और चूड़ाराखी या लूंबा कहते हैं।

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